Division By Traditional Method

भाग प्रचलित विधि (Division By Traditional
Method)

जब घटाव या व्यवकलन की संक्रिया की पुनरावृत्ति की जाती है तो उस संक्रिया को विभाजन /भाग कहते हैं।
यदि x तथा y पूर्ण संख्याएँ हैं तथा y ≠ 0 तो x ÷ y अर्थात्  x/y  से अभिप्राय उस संख्या से है, जिसे y से गुणा
करने पर पूर्ण संख्या x प्राप्त होती है।
भाग संक्रिया के मुख्य अवयव हैं —
भाज्य ( Dividend)
भाजक (Divisor)
भागफल (Quotient)
शेषफल (Remainder)
भाज्य = भाजक × भागफल + शेषफल
Dividend = Divisor × Quotient + Remainder
भाग की विधियाँ (Methods of Division) :-
(1) प्रचलित विधि (Traditional Method)
(2) खंडन विधि (Khandan Method)
(3) विलोकनम् विधि (Observation Method)
(4) निखिलम् विधि (Nikhilam Method)
(5) परावर्त्य विधि (Pravartya Method)
(6) ध्वजांक विधि (Flag Method)
प्रचलित विधि (Traditional Method)
भागहारे करणसूत्रं वृतम्।
भाग संक्रिया को इस श्लोक के माध्यम से समझाया जा सकता है। ( Division is explained in this shloka)
भाज्याद्धरः शुद्धद्यति यदगुणः स्यादन्त्यात्फलं तत्खलु भागहारे।
समेन केनाप्यपवर्त्य हारभाज्यौ भवेदा सति संभवे तु।।
~ लीलावती – 19
वो बड़ी से बड़ी संख्या जिसका भाजक से गुणनफल को भाज्य के सबसे बायें के अंक /अंकों के बराबर या
निकटतम अपवर्त्य हो। वो अंक भागफल का प्रथम अंक होगा। यदि भाजक तथा भाज्य के उभयनिष्ठ गुणक हो
तो दोनों सम फल घटकर शेषफल शून्य देते हैं और इसतरह भाग की संक्रिया अन्य गुणको के साथ क्रिया करते
हुए आगे बढ़ती है। (Find the largest integer whose product with the divisor can be subtracted
from the extreme left hand digit(s) of the dividend. This integer is the first digit of the
quotient. If the divisor and the dividend have a common factor, then the common factor can
be cancelled and the division is carried out with the remaining factors.)
उदाहरण के लिए हम 1632 में 12 से भाग करते हैं। भाज्य के प्रथम दो अंक 16 में से 12 × 1 = 12 को घटाने
पर भागफल का प्रथम अंक 1 तथा शेषफल 4 आयेगा। इसके बाद 42 को 12 से भाग देने पर, 12 × 3 = 36
को 42 से घटाने पर। इसतरह भागफल का अगला अंक 3 तथा शेषफल 72 जोकि 12 × 6 = 72  अतः

भागफल का अंतिम अंक 6 होगा इसतरह भाग संक्रिया सम्पन्न हो जायेगी। अतः संपूर्ण भागफल 136 तथा
शेषफल 0 होगा।
1 2  )  1  6  3  2  (  1 3 6
—   1  2
– – – – – – – –
4  3
—   3  6
– – – – – – – –
7  2
—  7  2
– – – – – – – – – – –
0  0
अतः 1632 ÷ 12 = 136 (भागफल) तथा 0 (शेषफल)
अभ्यास (Exercise)
(1) 2112 ÷ 16
(2) 9432 ÷ 12
(3) 8931 ÷ 13
(4) 11070 ÷ 15
(5) 73525 ÷ 17
भाग प्रचलित विधि (Division By Traditional Method)
http://www.manasganit.com/Post/details/41–division-by-traditional-method

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